महाराष्ट्र के नासिक जिले के विभिन्न गांवों के 35000 हज़ार किसान, पूर्ण ऋण माफ़ी, फसल के उचित समर्थन मूल्य, वन भूमि अधिकार अधिनियम 2006 को सही से लागु करने समेत कुल 13 मांगों को लेकर 180 किलोमीटर की दूरी पैदल तय करके नासिक से मुंबई पहुंचे थे सरकार से बात करने।भारत एक कृषि प्रधान देश होने के बावजूद यहां के किसानो को न्यूनतम समर्थन मूल्य जैसी बुनियादी मांगो को सरकार तक पहुंचाने के लिए इतनी तकलीफें झेल कर, अपने पैरो पर चल कर इतना दूर क्यों आना पड़ा ? और यह कोई पहली बार नहीं हुआ। इससे पहले भी किसानो ने अपने मांगो को लेकर कई बार प्रदर्शन किया है। फसल की न्यूनतम समर्थन मूल्य के बारे में आप का क्या विचार है और सरकार द्वारा तय अभी के समर्थन मूल्यों में क्या कमी है ? क्या आप के क्षेत्र में किसानों के हित को ध्यान में रखते हुए पर्याप्त मात्रा में सरकारी बिक्रय केंद्र खोले जाते है ? क्या आप ने या आप के किसी जाननेवाले ने कभी सरकारी मंडी में अपना सामान बेचने की कोशिश की है ? क्या अनुभव रहा इसमें उनका ? और अगर किसान सरकारी बिक्रय केंद्र या मंडी तक न पहुँच पाए तो किसान किसे अपना सामान बेचते है और ऐसे में उन्हें किस तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है ? साथ ही हम आप से यह भी जानना चाहेंगे की, आपके गांव या जिले में किसानों की स्थिति को सुधारने के लिए सरकार से आपकी सबसे पहली मांग क्या होगी ?